9139 में केरल के पराप्रम गांव में कम्युनिस्ट पार्टी की हुई थी पहली बैठक

     


पटना।  मकपा बिहार राज्य सचिव मण्डल सदस्य प्रभुराज नारायण राव ने बताया की भारत की कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) की 23 वीं पार्टी कांग्रेस केरल के कन्नूर में 6 से 10 अप्रैल 22  तक चला । मैं पार्टी कांग्रेस के बाद 11 अप्रैल को स्थानीय कामरेड निडिस और का . रमीज के साथ उक्त स्थानों तक पहुंचा ।

        मैं केरल के पराप्रम गांव पहुंचा । जहां 1939 में पहली बार केरल की धरती पर कम्युनिस्ट पार्टी की पहली बैठक हुई थी । वहां माकपा की लोकल कमिटी कार्यालय को देखा । पराप्रम लोकल कमिटी के सचिव का. राघवन से मुलाकात हुई । मैं उनके आग्रह पर कुछ देर के लिए कार्यालय में बैठा । वहां लोकल कमिटी सदस्य का. बालन , का. रजेश के साथ एलसी कार्यालय में बैठा । मेरे साथ बिहार डेलिगेशन के एक सप्ताह तक देख भाल करने वाले कन्नूर के का. रमिस और का. निदिश लोकल कमिटी सचिव माबिलाई भी थे। मैं का. निदिश के घर गया मैंगो जूस तथा केला खाया । मैंने एक फोटो उनके पिता जी , माता जी तथा बच्चों के साथ भी लिया । यहीं पर मेरी मुलाकात कर्नाटक के पार्टी राज्य सचिव से मुलाकात हुई। 

      साथियों ने पराप्रम गांव के ऐतिहासिक इतिहास को बताया कि   1939 में कम्युनिस्ट पार्टी की केरल में पहली बैठक हुई थी । उस बैठक में भाग लेने के लिए अंजर कंडी नदी के रास्ते का. इ एम एस नंबूदिरीपाद , कृष्णा पिल्लई और ए के गोपालन नाव से आए थे । उस ऐतिहासिक बैठक में 40 कामरेड भाग लिए । जिसमें का. आर के पंगी , के पी आर गोपालन , एन ई बलराम , सुब्रमण्यम सहनाई , वाडावड़ी कृष्णन , पिनाराई कृष्णन नायर , के दामोदरन , पी एस नंबूदिरी , एम कृष्ण मेनन , पी कृष्णा नायर , जनार्दन शहनाई , पी एम गोपालन , जे सी पी नंबूदिरी , सुब्रमण्यम शर्मा , एम के केरलो, के एल केरलियन , ई पी गोपालन , के कृष्ण नायर , पट्टाबडी कृष्णन , के एन चंदकुट्टी , मंजूनाथ राउ आदि ने भाग लिया था ।

         ब्रिटिश हुकूमत के विरुद्ध चल रहे भारत में राष्ट्रीय मुक्ति आंदोलन के दौरान कम्युनिस्ट पार्टी पर बेंड लगने के बाद सभी कम्युनिस्ट कांग्रेस में चले गए और पूर्ण स्वाधीनता की मांग उठाने लगे । जिन्हे कांग्रेस में गरम दल से जाना गया । 

          1935 में कांग्रेस से निकल कर ई एम एस नंबूदरीपाद , जयप्रकाश नारायण , मीनू मसानी , पं नरेन्द्र देव ने कांग्रेस सोशलिस्ट पार्टी की स्थापना की । लेकिन उसके कार्यक्रमों से असंतुष्टि जाहिर करते हुए कम्युनिस्ट पार्टी में ई एम एस भूमिगत कार्य करते रहे ।

         आज केरल के कम्युनिस्ट क्रांतिकारियों में कन्नूर जिले के का. ए के गोपालन , का. का. ई के नायनार , का. पिनारायी विजयन का नाम शुमार है ।

      

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